चंडीगढ़, 7 जून: रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) की पहली IPL ट्रॉफी जीतने का उत्सव उस समय एक त्रासदी में बदल गया, जब 4 जून को चिन्नास्वामी स्टेडियम और उसके आस-पास आयोजित विक्ट्री परेड में भारी भीड़ के कारण भगदड़ मच गई। इस दर्दनाक हादसे में 11 लोगों की जान चली गई, जबकि करीब 50 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। इस घटना के बाद कर्नाटक सरकार और पुलिस प्रशासन हरकत में आ गए हैं और अब इस मामले की आंच RCB के सुपरस्टार विराट कोहली तक पहुंच गई है।
पूरा घटनाक्रम: कहां और कैसे हुई भगदड़?
3 जून 2025 को अहमदाबाद में हुए IPL फाइनल में RCB ने पंजाब किंग्स को हराकर पहली बार खिताब जीता। इस ऐतिहासिक जीत के बाद टीम बेंगलुरु लौटी और 4 जून को शहर में भव्य विजय जुलूस निकाला गया। ट्रॉफी के साथ यह परेड विधानसौधा से लेकर चिन्नास्वामी स्टेडियम तक आयोजित की गई थी। लेकिन आयोजन स्थल पर लाखों की भीड़ जमा हो गई, जिससे भीड़ नियंत्रण पूरी तरह विफल रहा।
सुरक्षा प्रबंधों की कमी, पर्याप्त पुलिस बल की अनुपस्थिति और भीड़ प्रबंधन में लापरवाही के चलते अचानक भगदड़ मच गई। लोगों में अफरा-तफरी फैल गई और देखते ही देखते सैकड़ों लोग दबने लगे। इस भीषण हादसे में 11 लोगों की जान गई और कई दर्जन लोगों को अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा।
अब तक किस पर हुई कार्रवाई?
घटना के बाद राज्य सरकार ने इसकी गंभीरता को देखते हुए जांच के आदेश दिए। शुरुआती जांच में लापरवाही के आरोप में RCB के मार्केटिंग और रेवेन्यू हेड निखिल सोसाले, उनके सहयोगी सुमंत, इवेंट मैनेजमेंट कंपनी DNA के मैनेजर किरण, और उनके साथी मैथ्यू को गिरफ्तार किया गया है। चारों को कोर्ट में पेश कर 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा गया है।
साथ ही कर्नाटक स्टेट क्रिकेट एसोसिएशन (KSCA) और इवेंट ऑर्गेनाइज़र कंपनी पर भी लापरवाही का आरोप लगाया गया है। सरकार ने संकेत दिया है कि इस पूरे मामले में कठोर कार्रवाई की जाएगी।
अब विराट कोहली पर क्यों आई कानूनी आंच?
इस मामले में नया मोड़ तब आया जब बेंगलुरु के वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ता एच.एम. वेंकटेश ने विराट कोहली के खिलाफ कब्बन पार्क पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई। वेंकटेश का कहना है कि:
“विराट कोहली न सिर्फ RCB टीम का चेहरा हैं, बल्कि उन्होंने इस इवेंट के प्रमोशन में भी सक्रिय भूमिका निभाई। जब वे आयोजन का हिस्सा बने, तो इस तरह की दुर्भाग्यपूर्ण घटना के लिए वे भी नैतिक रूप से जिम्मेदार हैं।”
वेंकटेश ने FIR दर्ज करने की मांग की है और पुलिस का कहना है कि शिकायत को गंभीरता से लिया जा रहा है और जांच के बाद तय किया जाएगा कि विराट कोहली को इस केस में नामजद किया जाए या नहीं।
पुलिस और प्रशासन की अगली कार्रवाई क्या होगी?
पुलिस फिलहाल मामले की हर पहलू से जांच कर रही है। आयोजन में मौजूद वीडियो फुटेज, आयोजकों की अनुमति की प्रक्रिया, सुरक्षा व्यवस्था, RCB टीम और खिलाड़ियों की भूमिका, सभी बिंदुओं पर जांच चल रही है।
अगर जांच में यह साबित होता है कि विराट कोहली ने इवेंट प्रमोशन या किसी फैसले में कोई जिम्मेदारी निभाई थी, जिससे यह हादसा हुआ, तो उनके खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की जा सकती है।
जनता और प्रशंसकों में नाराजगी
RCB की ऐतिहासिक जीत के बाद पूरा कर्नाटक उत्सव के मूड में था, लेकिन इस हादसे ने जश्न को मातम में बदल दिया। कई लोगों ने सोशल मीडिया पर सवाल उठाए कि जब इस तरह के आयोजन की अनुमति दी गई थी, तो सुरक्षा के पर्याप्त प्रबंध क्यों नहीं किए गए?
कुछ लोगों ने विराट कोहली और टीम प्रबंधन से सार्वजनिक रूप से माफी मांगने और पीड़ित परिवारों की सहायता करने की भी मांग की है।
सरकार की प्रतिक्रिया और आगे की दिशा
कर्नाटक के मुख्यमंत्री ने इस घटना को “अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण” बताया है और मृतकों के परिवारों को मुआवजा देने की घोषणा की है। इसके साथ ही उन्होंने साफ कहा है कि “चाहे दोषी कोई भी हो, उसे बख्शा नहीं जाएगा।”
RCB की पहली जीत का जश्न इतिहास में दर्ज हो गया है — लेकिन कड़वी यादों के साथ। जब लाखों प्रशंसक अपनी टीम के हीरो विराट कोहली और RCB को देखने उमड़े, तो किसी ने नहीं सोचा था कि यह आयोजन जानलेवा साबित हो सकता है।
अब सवाल ये है कि क्या एक स्पोर्ट्स आइकन जैसे विराट कोहली भी ऐसे आयोजनों की नैतिक या कानूनी जिम्मेदारी निभाएंगे? या क्या यह सब आयोजकों और प्रबंधन के सिर मढ़ दिया जाएगा?
फिलहाल जांच जारी है और आने वाले दिनों में कई और नाम इस लिस्ट में जुड़ सकते हैं।