हरियाणा पुलिस की बड़ी बैठक: अपराध, नशा, और फर्जी इमिग्रेशन पर अब एक्शन मोड में सरकार!

चंडीगढ़, 21 अप्रैल: हरियाणा को अपराध, भय और नशे से मुक्त एक आदर्श राज्य बनाने की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाया गया है। राज्य पुलिस महानिदेशक (DGP) श्री शत्रुजीत कपूर की अध्यक्षता में एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक का आयोजन हुआ, जिसमें पूरे राज्य से जुड़े वरिष्ठ पुलिस अधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पंचकूला स्थित पुलिस मुख्यालय से शामिल हुए।

इस अहम बैठक में कई गंभीर और ज्वलंत मुद्दों पर गहराई से चर्चा की गई, जिनमें हिंसक अपराधों की रोकथाम, आतंकवादी गतिविधियों की निगरानी, नशा मुक्त भारत अभियान, अवैध इमिग्रेशन, वाहन चोरी, पुलिस प्रशिक्षण, और नए आपराधिक कानूनों के प्रभावी क्रियान्वयन जैसे विषय प्रमुख रहे।

सड़क सुरक्षा: हर जान कीमती है

DGP कपूर ने खासतौर पर सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए पुलिस अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि हादसों के मूल कारणों की पहचान कर उनके समाधान के लिए व्यवस्थित और ठोस कार्रवाई की जाए।

अवैध कट, ड्रंक एंड ड्राइव, और ओवरस्पीडिंग जैसे कारकों को प्राथमिकता से हटाया जाए। नियमों के उल्लंघन पर निर्दयी और त्वरित एक्शन हो।

वाहन चोरी पर सख्ती, गैंग्स की धरपकड़ होगी तेज़

वाहन चोरी को एक गंभीर चुनौती बताते हुए उन्होंने इसे रोकने के लिए विशेष निगरानी टीमें गठित करने की बात कही। DGP ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे चोरी के पैटर्न को समझें और अपराधियों की पहचान कर उन पर त्वरित कार्रवाई करें। साथ ही गैंग आधारित अपराधों पर विशेष फोकस किया जाए।

गंभीर अपराधों पर “शून्य सहिष्णुता” नीति

बैठक में यह स्पष्ट किया गया कि संगीन अपराधों पर किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। ऐसे मामलों की शीघ्रता से रिपोर्टिंग, सीमावर्ती जिलों में विशेष सतर्कता, और CCTV नेटवर्क की सक्रियता सुनिश्चित की जाएगी।

पुलिस बल को मिलेगा लगातार प्रशिक्षण

DGP कपूर ने कहा कि प्रशिक्षण ही प्रभावी पुलिसिंग की रीढ़ है। सभी जिलों में पुलिस को हथियार संचालन, भीड़ नियंत्रण, और वास्तविक परिस्थितियों में निर्णय लेने की क्षमता बढ़ाने के लिए निरंतर प्रशिक्षित किया जाएगा।

इसके साथ ही हर जिले में SWAT टीमें बनाने का प्रस्ताव भी रखा गया, जो आपातकालीन या विशेष मामलों में त्वरित कार्रवाई कर सकें।

अवैध इमिग्रेशन पर लगेगी लगाम

बैठक में अवैध इमिग्रेशन और दस्तावेजों में फर्जीवाड़ा करने वालों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करने की बात कही गई। DGP ने कहा कि पीड़ितों को अधिकतम राहत दिलाना भी पुलिस की जिम्मेदारी है।

उन्होंने निर्देश दिए कि इन मामलों की व्यक्तिगत निगरानी की जाए और वार्षिक प्रदर्शन रिपोर्ट में इस मुद्दे को स्पष्ट स्थान दिया जाए।

नशा मुक्त हरियाणा: खेल से जुड़ेगा युवा

हरियाणा नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो के प्रमुख श्री ओ. पी. सिंह ने बताया कि इस वर्ष हर जिले में कम से कम 10,000 युवाओं को खेल गतिविधियों से जोड़ा जाएगा। साथ ही 70% गांवों और वार्डों को नशामुक्त घोषित करने का लक्ष्य तय किया गया है।

उन्होंने ज़ोर दिया कि नशा तस्करी नेटवर्क को तोड़ने के लिए सभी विभागों और समुदायों को मिलकर काम करना होगा।

तकनीकी निगरानी में NETGRID सिस्टम की भूमिका

राज्य अपराध शाखा की एडीजीपी श्रीमती ममता सिंह ने NETGRID प्रणाली की उपयोगिता पर बल दिया और पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिया कि इस तकनीक का अधिकतम उपयोग कर जांच प्रक्रिया को तेज किया जाए।

वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति

बैठक में हरियाणा पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी जैसे एडीजीपी अमिताभ ढिल्लों, आईजी राकेश आर्य, एआईजी हिमांशु गर्ग, कमलदीप गोयल समेत कई अन्य उच्च अधिकारी उपस्थित रहे।

यह बैठक राज्य में सुरक्षा, पारदर्शिता और दक्षता की नई दिशा तय करने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुई।