चंडीगढ़, 29 मई: जब देश की सीमाओं पर सैन्य हलचलें तेज़ हैं और पाकिस्तान की ओर से खतरे के संकेत मिल रहे हैं, ऐसे में भारत सरकार ने नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सीमावर्ती राज्यों में एक बड़े पैमाने पर सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल की योजना बनाई थी। इस अभ्यास को “ऑपरेशन शील्ड” नाम दिया गया था और इसका आयोजन 29 मई 2025 को किया जाना था। लेकिन अब इस अभ्यास को प्रशासनिक कारणों के चलते टाल दिया गया है।
इस मॉक ड्रिल का मकसद था – युद्ध या आपातकाल की स्थिति में आम जनता और प्रशासन की तैयारियों को जांचना और सुधारना। लेकिन हालात को देखते हुए इसे अब पंजाब, राजस्थान, गुजरात, हरियाणा और केंद्र शासित चंडीगढ़ में अस्थायी रूप से स्थगित कर दिया गया है।
सेना प्रमुख का दौरा – युद्ध तैयारियों का जायजा
इस बीच, भारतीय सेना भी किसी भी संभावित खतरे से निपटने के लिए पूरी मुस्तैदी से तैयार है। बुधवार को सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने उत्तर भारत में तैनात रेड ईगल डिवीजन का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने सेना की युद्ध तैयारियों, नई तकनीकों के उपयोग, और जवानों की मानसिक व शारीरिक दक्षता का गहन मूल्यांकन किया।
जनरल द्विवेदी ने स्पष्ट रूप से कहा कि भारतीय सेना किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार है और सैनिकों का हौसला काबिल-ए-तारीफ है। उन्होंने यह भी दोहराया कि “युद्ध केवल हथियारों से नहीं, हौसलों और योजनाओं से भी लड़ा जाता है।”
‘ऑपरेशन सिंदूर’ अभी जारी – सरकार का स्पष्ट संदेश
भारत सरकार की ओर से यह भी स्पष्ट किया गया है कि पाकिस्तान की ज़मीन पर पल रहे आतंकियों के खिलाफ चलाया जा रहा “ऑपरेशन सिंदूर” अब भी सक्रिय है।
प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और सेना प्रमुख – तीनों ने यह दोहराया है कि यह अभियान किसी सीमित कार्रवाई तक सीमित नहीं है, बल्कि एक व्यापक रणनीति का हिस्सा है। इसका मकसद सिर्फ जवाब देना नहीं, बल्कि आतंकवाद की जड़ों को उखाड़ फेंकना है।
पंजाब ने 3 जून को मांगी नई तारीख
पंजाब सरकार ने केंद्र को औपचारिक रूप से पत्र भेजकर अनुरोध किया है कि मॉक ड्रिल की नई तारीख 3 जून रखी जाए। राज्य सरकार का तर्क था कि इस समय उनके सिविल डिफेंस कर्मी राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (NDRF) के साथ विशेष प्रशिक्षण में व्यस्त हैं।
इसलिए तुरंत अभ्यास कराना संभव नहीं था। केंद्र सरकार ने पंजाब सरकार की स्थिति को समझते हुए यह तारीख मंज़ूर कर ली है।
गुजरात और राजस्थान में भी ‘ऑपरेशन शील्ड’ पर विराम
गुजरात और राजस्थान सरकारों ने भी फिलहाल ‘ऑपरेशन शील्ड’ को टालने का फैसला किया है। दोनों राज्यों के सूचना विभागों की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि प्रशासनिक और लॉजिस्टिक कारणों के चलते इस मॉक ड्रिल को स्थगित किया गया है।
नई तारीखें जल्द घोषित की जाएंगी और सरकारें इसे अधिक बेहतर और संगठित रूप में आयोजित करना चाहती हैं।
क्या है मॉक ड्रिल का महत्व?
मॉक ड्रिल्स का उद्देश्य होता है – आम जनता, प्रशासनिक तंत्र और सुरक्षा एजेंसियों को आपदा या युद्ध जैसी स्थिति में तुरंत, समन्वित और सटीक प्रतिक्रिया देने में सक्षम बनाना। ऐसे अभ्यासों से:
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रिस्पॉन्स टाइम घटता है
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कोऑर्डिनेशन सुधरता है
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कम्युनिकेशन चैनल्स की विश्वसनीयता परख में आती है
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और जागरूकता बढ़ती है
इसलिए, इसे केवल एक “प्रशिक्षण” नहीं, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा का अहम हिस्सा माना जाता है।