चंडीगढ़, 9 मई: पंजाब में डेंगू से लड़ाई को लेकर इस बार सरकार बेहद सतर्क और सक्रिय दिखाई दे रही है। राज्य के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. बलबीर सिंह ने आज स्पष्ट किया कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के निर्देशानुसार इस वर्ष डेंगू के मामलों में 80 प्रतिशत तक की कमी लाने का लक्ष्य तय किया गया है। उन्होंने कहा कि पिछली बार जागरूकता अभियान के कारण डेंगू के मामलों में 50% तक की गिरावट दर्ज की गई थी और इस बार इससे भी अधिक प्रभावी प्रयास किए जा रहे हैं।
“हर शुक्रवार, डेंगू पर वार” अभियान की शुरुआत
आज मोहाली के फेज-7 स्थित आम आदमी क्लिनिक से “हर शुक्रवार डेंगू पर वार” नामक राज्यव्यापी जागरूकता अभियान की शुरुआत की गई। इस अवसर पर नर्सिंग विद्यार्थियों, आशा कार्यकर्ताओं, मल्टीपरपज हेल्थ वर्कर्स, डॉक्टरों और अन्य स्वास्थ्य अधिकारियों की सहभागिता रही। इस अभियान का उद्देश्य जनता को डेंगू मच्छर की पैदावार और उसे रोकने के तरीकों के प्रति जागरूक करना है।
डॉ. बलबीर सिंह ने बताया कि इस वर्ष लगभग 20 लाख विद्यार्थियों को डेंगू मच्छर की पहचान और उसे खत्म करने के उपायों की जानकारी दी गई है। यह विद्यार्थी अपने घरों और स्कूलों में मच्छर के प्रजनन को रोकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।
राज्यभर में होगा घर-घर सर्वेक्षण
स्वास्थ्य मंत्री ने यह भी जानकारी दी कि 1 लाख के करीब स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के माध्यम से घर-घर सर्वेक्षण करवाया जाएगा ताकि डेंगू मच्छरों की संभावित ब्रूडिंग साइट्स की पहचान कर उन्हें खत्म किया जा सके।
उन्होंने बताया कि डेंगू मच्छर विशेष रूप से साफ और ठहरे हुए पानी में पनपता है, इसलिए राज्य के लोगों को सप्ताह में कम से कम एक दिन अपने कूलर, फ्रिज की ट्रे, पुराने टायर, गमले और पक्षियों के लिए रखे पानी के बर्तन आदि को पूरी तरह से खाली करना चाहिए। ऐसा करने से डेंगू मच्छर का लार्वा एक सप्ताह के भीतर ही समाप्त हो जाता है।
डेंगू से बचाव सामूहिक जिम्मेदारी
डॉ. बलबीर सिंह ने कहा कि अगर लोग छोटी-छोटी बातों में सतर्क रहें तो डेंगू से पूरी तरह बचाव संभव है। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टरों, पैरामेडिकल स्टाफ, मल्टीपरपज हेल्थ वर्कर्स और आशा कार्यकर्ताओं को देश की सीमाओं पर तैनात सैनिकों की तरह बताया, जो जनता को उनके घरों के भीतर मौजूद “डेंगू नामक दुश्मन” से बचाते हैं।
अत्यावश्यक स्थिति के लिए अस्पताल तैयार
देश के मौजूदा सुरक्षा हालातों के बीच, स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि राज्य के अस्पतालों को किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए तैयार रखा गया है। रात्रि ड्यूटी में अतिरिक्त स्टाफ लगाया गया है। उन्होंने बताया कि जिस तरह हमारी सेनाएं सीमाओं की रक्षा कर रही हैं, उसी तरह स्वास्थ्य विभाग भी आपात स्थितियों से निपटने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
कार्यक्रम में वरिष्ठ अधिकारी और स्वास्थ्यकर्मी रहे मौजूद
इस अभियान की शुरुआत के मौके पर जिला अतिरिक्त उपायुक्त (शहरी विकास) अनमोल सिंह ढालीवाल, स्वास्थ्य निदेशक डॉ. हतिंदर कौर, एसडीएम दमंदीप कौर, सिविल सर्जन डॉ. संगीता जैन, एसएमओ डॉ. प्रीत कंवल, सहायक सिविल सर्जन डॉ. गिरीश डोगरा, जिला महामारी नियंत्रण अधिकारी डॉ. अनामिका और डॉ. हरमन बराड़ समेत बड़ी संख्या में नर्सिंग छात्र, आशा वर्कर और मल्टीपरपज हेल्थ वर्कर शामिल रहे।
कार्यक्रम के दौरान विभिन्न स्थानों पर जाकर डेंगू मच्छरों की ब्रूडिंग की जांच की गई और स्प्रे अभियान चलाया गया। साथ ही लोगों को यह भी बताया गया कि वे हर शुक्रवार को ‘ड्राई डे’ के रूप में मनाएं ताकि डेंगू मच्छर को पैदा होने से रोका जा सके।