कौन हैं असली लड्डू मुट्या? जानिए पंखे वाले बाबा के वायरल वीडियो का सच!

laddu mutya

पंखे वाले बाबा: कौन थे “laddu mutya” क्या आपने इंस्टाग्राम पर पंखे को हाथ से रोकने वाले बाबा की वो वायरल रील देखी है?

अगर देखी है, तो यकीनन आपने उस रील के बैकग्राउंड में बजते हुए गाने पर भी ध्यान दिया होगा, जिसका नाम है “लड्डू मुट्या”।

इस अनोखे नाम ने इंस्टाग्राम पर तहलका मचा रखा है, और लोग बाबा को चमत्कारी मानने लगे हैं।

तो आइए जानते हैं, आखिर कौन हैं ये लड्डू मुट्या, और क्या है इनके ट्रेंड होने की वजह? साथ ही, जानते हैं पंखा रोकने वाले बाबा का सच!

पंखे वाले बाबा का वायरल वीडियो:

इंस्टाग्राम पर इन बाबा का वीडियो खूब वायरल हो रहा है, जहां दिव्यांग बाबा को अपने हाथों से चलता हुआ पंखा रोकते हुए देखा जा सकता है।

वीडियो में कुछ लोग बाबा को गोद में उठाए हुए हैं, और इसी दौरान बाबा अपने हाथ से पंखे को रोककर अपना “टैलेंट” दिखाते हैं।

लोग इसे चमत्कार मान रहे हैं, और इसी वीडियो के बैकग्राउंड में बज रहा है वो गाना— लड्डू मुट्या।

कौन हैं असली laddu mutya ?

अब यहां ट्विस्ट यह है कि इस वीडियो में दिख रहे बाबा, लड्डू मुट्या नहीं हैं! ये केवल उस गाने का इस्तेमाल कर रहे हैं जो रील को वायरल बना रहा है।

असल में ये बाबा लड्डू मुट्या नहीं बल्कि एक मंदिर के पुजारी हैं।

सोशल मीडिया पर तो बाबा और उनके पंखे रोकने वाले टैलेंट ने हलचल मचा दी है।

तो फिर असली लड्डू मुट्या कौन हैं?

सोशल मीडिया पर चल रही कई रिपोर्ट्स के अनुसार, लड्डू मुट्या को अक्सर एक ऐसे संत के रूप में चित्रित किया जाता है,

जो तय की गई शादी से बचने के लिए घर से भाग गए थे और अंत में कर्नाटक के बागलकोट में आकर बस गए।

उन्होंने लगभग 20 वर्षों तक कठिन जीवन व्यतीत किया, और भिक्षा पर निर्भर रहकर अपना गुजारा किया।

रिपोर्ट्स के अनुसार, इन कठिनाइयों के बावजूद भी वो जहां भी जाते थे उसके पीछे-पीछे सुख समृद्धि आती थी।

जिस भी घर में जाते वो जाते थे उस घर में आर्थिक लाभ होता था।

जिस भी दुकान पर वो रुकते थे उसका व्यवसाय भी अच्छा चल जाता था।

जिसके चलते लोगों ने बाबा के चमत्कार को माना।

लोग उन्हें लड्डू मुट्या नाम से पुकारने लगे। धीरे-धीरे वो फेमस हो गए।

लोग उन्हें चमत्कारी बाबा के नाम से जानने लगे।

साल 1993 में उनकी मृत्यु हो गई थी। जिसके बाद लोगों ने उनका बागलकोट में मंदिर बनवाया।